पति व पत्नी के मध्य विभिन्न कारणों से वैवाहिक व पारिवारिक विवादों के निस्तारण हेतु पक्षकारों को थाना व न्यायालय जाने की आवश्यकता नहीं है। थाना व न्यायालय में पारिवारिक/ वैवाहिक मामलों के निस्तारण में न्यायिक प्रक्रिया के कारण काफी विलंब होता है तथा पक्षकारों को आर्थिक क्षति भी होती है। राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशानुसार जिला जज महोदय के मार्गदर्शन में जनपद के दीवानी न्यायालय परिसर में आगामी दिनांक 22 जनवरी 2022 को पति एवं पत्नी के मध्य विभिन्न कारणों से उत्पन्न हुए पारिवारिक व वैवाहिक विवादों के त्वरित व सुलभ निस्तारण हेतु विशेष लोक अदालत का आयोजन किया जाएगा।
कोई भी पक्षकार अपने वैवाहिक व परिवारिक मामलों के निस्तारण हेतु जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में प्रार्थना पत्र दे सकता है यदि पति व पत्नी के बीच विवादों के संबंध में थाना पर अभियोग पंजीकृत है यदि उक्त अभियोग अभी विवेचनाधीन है तो ऐसे मामलों के निस्तारण हेतु भी प्रकरण को जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में दे सकते हैं जहां दोनों पक्षों के पक्षकारों से आपसी सहमति से किए गए सुलह समझौते के माध्यम से निस्तारण का प्रयास किया जाएगा। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के द्वारा विपक्षी को नोटिस भेजकर उसे बुलाया जाएगा और लोक अदालत के माध्यम से विशेषज्ञों द्वारा पक्षों को समझा-बुझाकर समझौता कराया जाएगा।
पक्षों द्वारा आपसी सहमति से किए गए समझौते के संबंध में लोक अदालत अपना निर्णय पारित करेगा और उक्त निर्णय पक्षों के मध्य सिविल न्यायालय की डिक्री के समान बाध्यकारी होगा।यदि सुलह समझौता हो जाता है तो इस हेतु गठित पीठ द्वारा जो आदेश पारित किया जाएगा उसे किसी न्यायालय में चुनौती नहीं दी जा सकती। यह आदेश अंतिम आदेश होगा ऐसे पारिवारिक व वैवाहिक विवादों के आपसी सहमति से समझौतों के माध्यम के निस्तारण से पति व पत्नी के साथ ही उनके बच्चों का भविष्य भी सुरक्षित रहेगा। तथा पक्षकारों का समय व आर्थिक क्षति होने से बच जाएगा और न्यायालयों के लंबित मुकदमों की संख्या में भी कमी आएगी।