भले ही सीटों को आरक्षित और अनारक्षित करने की कवायद न्यायालय के आदेशानुसार अब भी चालू है लेकिन जिला पंचायत और ग्राम प्रधानी का जोड़-तोड़ प्रत्याशी करने में जुटे हैं। ऐसे में जब खुद के कार्यों व छवि के दम पर वोट ना मिले, तो जातीयता के जहर की चिट्ठी भी लिखी जाने लगी है. एक ऐसा ही मामला भदोही जनपद के अकोढ़ा गांव से सामने से आया है, जिसकी शिकायत करते हुए प्रधान पद प्रत्याशी स्वतंत्र मिश्र (डब्बू) ने पुलिस विभाग के उच्च अधिकारियों को पत्र लिखकर जांच करवानें की मांग किया. ऐसा दावा उनके द्वारा किया जा रहा है।
जगजाहिर है कि भदोही-प्रयागराज बार्डर पर बसे अकोढ़ा गांव की प्रधानी में भले ही ब्राम्हण प्रत्याशी दो दशक से हार रहे हो लेकिन अन्य जातियों के सहारे ‘प्रधान’ की दशा-दिशा तय करने में तटस्थ भूमिका निभाते रहे हैं. अनारक्षित सीट पर भी यहां कुछ ब्राम्हण ही दूजे ब्राम्हण को प्रधान नहीं बनने देने की सौंगध लेकर चुनावी मैदान में उतरने की प्रथा शुरू किए. इसके बाद मानिए लोकतंत्र गौरवान्वित हो उठा और अनारक्षित सीट पर भी पिछड़े वर्ग व अन्य जातियों से प्रधान बने. फिलहाल नया माजरा यह है कि ‘सशक्त समाज न्यूज’ द्वारा बीडीसी बतौर चर्चित स्वतंत्र मिश्र (डब्बू) के प्रधान पद हेतु मैदान में उतरते ही मॅची चुनावी भगदड़ को लेकर खबर प्रकाशित की गई थी. मुख्यत: सभी जाति-धर्म के वोट बैंक में उनकी गहरी पैठ है, जिसके बाद से विपक्षियों ने कुटिनीतिक हथकंडे अपनाने शुरू कर दिए हैं।
जातियता का जहर, फंस गया पेंच….
बताया जा रहा है कि स्वतंत्र मिश्र (डब्बू) पिछले दो दिनों से हैरत में पड़ गए, जब उन्होंने उनका नाम-नंबर डाले हुए एक फर्जी स्क्रीन शाॅट को घूमते देखा. उक्त स्क्रीन शाॅट चूंकि पूर्ण रूप से फर्जी दिख रहा है, इसलिए द्वैष फैलने से पहले ही जातियता का यह ‘कुटनीतिक चिट्टा’ बुद्धिजीवियों ने बेअसर कर दिया।
👆यही है फर्जी बनाया हुआ स्क्रीन शाॅट, जिस पर लिखे अभद्र जातियता के जहर को छिपा दिया गया है लेकिन नाम और नंबर देखकर इसके फर्जी होने की प्रमाणिकता आप स्वयं दे सकते हैं….
क्या कहते हैं स्वतंत्र मिश्र (डब्बू)…
प्रधान प्रत्याशी बतौर मैदान में उतरे स्वतंत्र मिश्र (डब्बू) कहते हैं कि यह विपक्षियों की साजिश है, जो सर्व जाति-धर्म में हमारी लोकप्रियता से परेशान हैं. बौखलाहट में कुछ युवाओं को मोहरा बनाकर फर्जी स्क्रीन शाॅट बनाकर घूमवा रहे हैं, जिसकी हमनें खुद पुलिस विभाग के उच्च अधिकारियों से शिकायत की है. ग्रामवासियों और कुछ भटके युवाओं से अपील है कि इन कुटिनीतिक नेताओं का मोहरा ना बनें क्योंकि जब कोई कार्यवाही पुलिस द्वारा होगी, तब ए आपको मझधार में छोड़ देगें।

थाना प्रभारी बोले, होगी कठोर कार्रवाई…
स्क्रीन शाॅट व जातीयता के जहर वाले मुद्दे पर स्थानीय ऊंज थाना प्रभारी सुशील त्रिपाठी से ‘सशक्त समाज न्यूज’ टीम ने संपर्क किया. जिस पर उन्होंने प्रतिक्रिया देते हुए कहा थाना अंतर्गत क्षेत्र में पंचायत चुनाव को लेकर पुलिस टीमें एलर्ट हैं. जातीयता का द्वैष फैलाने वालों के खिलाफ मामला संज्ञान में आने पर तत्परता से जांच की जाएगी और दोषियों पर कठोर कार्रवाई की जाएगी।

पंचाईत (01) – भदोही के इस गांव में, जानिए क्यों मॅची चुनावी भगदड़.!!